चंडीगढ़. पंजाब के स्थानीय निकाय मंत्री और भाजपा विधायक दल के नेता तीक्ष्ण सूद ने मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल को नोबेल पीस पुरस्कार देने की मांग की है। सूद ने कहा, बादल ने ह्यूमन वेलफेयर को राजनीतिक जीवन का केंद्र बिंदु बनाया। अपने 50 साल के राजनीतिक जीवन में बादल ने मानवता के लिए निस्वार्थ लड़ाई लड़ी।
पंजाब में हिंदु-सिख एकता के लिए इनके प्रयास बेमिसाल हैं। शुक्रवार को श्री आंनदपुर साहिब में विरासत-ए-खालसा के उद्घाटन अवसर पर विभिन्न धर्मो के अनुयायी मौजूद थे। सभी को एक मंच पर लाना बड़ी उपलब्धि है। यहां से धार्मिक एकता और विश्व शांति का संदेश दिया गया। यह सब प्रकाश सिंह बादल की सोच का नतीजा है। इसलिए उन्हें नोबेल पुरस्कार मिलना चाहिए।
भ्रष्ट सीएम का अवॉर्ड मिले
पीपल्स पार्टी ऑफ पंजाब के प्रवक्ता अरुणजोत सिंह सोढी ने कहा, पंजाब के सीएम प्रकाश सिंह बादल को नोबेल पीस पुरस्कार नहीं, सबसे भ्रष्ट सीएम का अवॉर्ड मिलना चाहिए। पंजाब में दो माह बाद विधानसभा चुनाव हैं। सभी राजनीतिक दलों को जनता की अदालत में जाना है। राज्य की जनता खुद ही अवॉर्ड दे देगी। सच्चाई यह है कि बादल ने राजनीति और निजी फायदे के लिए धर्म का नाजायज इस्तेमाल किया है।
भाजपा के बुरे दिन
पंजाब प्रदेश कांग्रेस कमेटी के वरिष्ठ उपाध्यक्ष लाल सिंह का कहना है कि भाजपा की ऐसी बयानबाजी दिखाती है कि पार्टी के बुरे दिन चल रहे हैं। मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल को नोबेल पुरस्कार देने की बात करके वह खुद से धोखा कर रही है। सरकार इतनी भ्रष्ट है कि नोबेल की जगह इसे भ्रष्ट सरकार का पुरस्कार देना चाहिए। आने वाले विधानसभा चुनाव में राज्य की जनता सरकार को यह पुरस्कार दे देगी।
मंडेला से तुलना
दक्षिण अफ्रीका के पूर्व राष्ट्रपति नेल्सन मंडेला से प्रकाश सिंह बादल की तुलना करते हुए सूद ने कहा, वर्ष 1975 में कांग्रेस की ओर से लगाई गई इमरजेंसी के दौरान मानवीय अधिकारों का हनन रोकने के लिए बादल लंबे समय तक जेल में रहे।
पंजाब में हिंदु-सिख एकता के लिए इनके प्रयास बेमिसाल हैं। शुक्रवार को श्री आंनदपुर साहिब में विरासत-ए-खालसा के उद्घाटन अवसर पर विभिन्न धर्मो के अनुयायी मौजूद थे। सभी को एक मंच पर लाना बड़ी उपलब्धि है। यहां से धार्मिक एकता और विश्व शांति का संदेश दिया गया। यह सब प्रकाश सिंह बादल की सोच का नतीजा है। इसलिए उन्हें नोबेल पुरस्कार मिलना चाहिए।
भ्रष्ट सीएम का अवॉर्ड मिले
पीपल्स पार्टी ऑफ पंजाब के प्रवक्ता अरुणजोत सिंह सोढी ने कहा, पंजाब के सीएम प्रकाश सिंह बादल को नोबेल पीस पुरस्कार नहीं, सबसे भ्रष्ट सीएम का अवॉर्ड मिलना चाहिए। पंजाब में दो माह बाद विधानसभा चुनाव हैं। सभी राजनीतिक दलों को जनता की अदालत में जाना है। राज्य की जनता खुद ही अवॉर्ड दे देगी। सच्चाई यह है कि बादल ने राजनीति और निजी फायदे के लिए धर्म का नाजायज इस्तेमाल किया है।
भाजपा के बुरे दिन
पंजाब प्रदेश कांग्रेस कमेटी के वरिष्ठ उपाध्यक्ष लाल सिंह का कहना है कि भाजपा की ऐसी बयानबाजी दिखाती है कि पार्टी के बुरे दिन चल रहे हैं। मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल को नोबेल पुरस्कार देने की बात करके वह खुद से धोखा कर रही है। सरकार इतनी भ्रष्ट है कि नोबेल की जगह इसे भ्रष्ट सरकार का पुरस्कार देना चाहिए। आने वाले विधानसभा चुनाव में राज्य की जनता सरकार को यह पुरस्कार दे देगी।
मंडेला से तुलना
दक्षिण अफ्रीका के पूर्व राष्ट्रपति नेल्सन मंडेला से प्रकाश सिंह बादल की तुलना करते हुए सूद ने कहा, वर्ष 1975 में कांग्रेस की ओर से लगाई गई इमरजेंसी के दौरान मानवीय अधिकारों का हनन रोकने के लिए बादल लंबे समय तक जेल में रहे।